डायमंड हार्बर। तृणमूल कांग्रेस (टीएमसी) के वरिष्ठ नेता अभिषेक बनर्जी ने पश्चिम बंगाल के वित्तीय बकाए के भुगतान के लिए अपनी लड़ाई जारी रखने की प्रतिबद्धता को दोहराते हुए कहा कि पार्टी उचित निधि हासिल करने की लड़ाई में केंद्रीय एजेंसियों की ‘धमकाने वाली छापेमारी’ से नहीं डरेगी।
टीएमसी के राष्ट्रीय महासचिव बनर्जी ने कहा कि पार्टी बकाया राशि रोकने के केंद्र सरकार के फैसले के खिलाफ अपना अभियान जारी रखेगी। बनर्जी ने सोमवार को अपने लोकसभा निर्वाचन क्षेत्र डायमंड हार्बर में एक कार्यक्रम के दौरान कहा, “हम भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) की जमींदारी रीति को खत्म कर देंगे। वे लगातार केंद्रीय एजेंसियों के दलों को भेजकर छापेमारी कर रहे हैं।
हमें छापेमारी की परवाह नहीं है लेकिन उन्हें लोगों के उचित धन को जारी करने की जरूरत है।” मुख्यमंत्री ममता बनर्जी के भतीजे अभिषेक को भ्रष्टाचार के विभिन्न मामलों की जांच के सिलसिले में केंद्रीय एजेंसियों द्वारा कई बार तलब किया गया है। उन्होंने कहा कि केंद्रीय एजेंसियां हर दिन 10 से ज्यादा छापेमारी कर सकती हैं, लेकिन लोगों का पैसा जारी करने की जरूरत है। टीएमसी नेता ने कहा, “यदि धन जारी नहीं किया गया तो लोग केंद्र सरकार को उसी भाषा में जवाब देंगे जिसकी वह हकदार है। यह एक स्थापित कानून है कि केंद्र सरकार 15 दिनों के भीतर धनराशि जारी करने के लिए बाध्य है। धन सिर्फ इसलिए रोका गया है क्योंकि वह पश्चिम बंगाल में चुनाव हार गए।” ममता बनर्जी ने बार-बार भाजपा के नेतृत्व वाली केंद्र सरकार की आलोचना की है और उस पर राज्य का कुल 1.18 लाख करोड़ रुपये का बकाया रोककर “वित्तीय नाकाबंदी” करने का आरोप लगाया है।